बहुल्य समाज लेल सेहो भाषिक चिन्तन अनिवार्यः से लुटेरा एनजीओ सँ सम्भव नहि
निरीह जनता आ लुटेरा अभियान
भाषाक नाम पर सेहो निरीह जनता दुहल जा रहल अछि। मैथिलीभाषाक संरक्षण, संवर्धन आ प्रवर्धनक वास्ते वांछित सृजनधर्मक अलावे आर...
मैथिली फुल नहि फुलबारी छी
मैथिली फुल नहि फुलबारी थिक
हमर प्रिय कवि विद्यानन्द बेदर्दी बड नीक कहैत छथि, "मैथिली फुल नहि फुलबारी छी"। एहि फुलबारी मे रंग-बिरंगक फुल फुलाइत...
मैथिली सँ शत्रुता महंग पड़त बाउ
मैथिली भाषा आम लोकक प्रयोग कयल जायवला भाषा थिक।
बड़का कहेनिहारक भाषा मैथिली नहि रहि गेल, न घर, न बाहर। बड़का कहेनिहारक भाषा रहितो ई...
विवाह पंचमी विशेष शुभकामना
विवाह पंचमी विशेष शुभकामना
आइ पराम्बा जानकीक पाणिग्रहण मर्यादा पुरुषोत्तम राम संग भेल छल। विवाह पंचमी बड धूमधाम सँ मनायल जा रहल अछि। कतहु विश्व...
मैथिली साहित्य मे सीताः साहित्य अकादमी दिल्लीक आयोजन पुपरी (सीतामढ़ी मे
मैथिली साहित्य मे सीता
साहित्य अकादमी नई दिल्ली द्वारा ई आयोजन १७ आ १८ दिसम्बर २०२३ पुपरी (सीतामढ़ी) मे होमय जा रहल अछि। परिदृश्य कतेक...
गम्भीरता सँ काज करैत रहू
हिसाब सँ देखल जाय त मैथिली आ मिथिलाक स्थिति मे क्रान्तिकारी परिवर्तन आबि चुकल छैक। सामाजिक संजाल केर अद्भुत सहयोग सँ विकासक परिदृश्य स्पष्ट...
उद्देश्य सर्वकल्याण आ व्यवहार मे अहंताक प्रदर्शन – पूजापाठ व शक्ति आराधना मे आबि...
पूजापाठ मे हकार के महत्व
पूजा-अर्चना करनिहार समूचा गाम केँ हकार देल करैत अछि। "आइ सत्यनारायण भगवानक पूजा अछि, स्त्रीगणे-पुरखे हकार अछि" - यैह वाक्य...
नवरात्रक सुअवसर मिथिलाक समस्त पत्नी लोकनि केँ समर्पित
सत्संग टा फल बाकी सबटा फूल
राति एकटा कथा पढ़लहुँ 'कल्याण' मे। भक्त जलारामजीक कथा। (अहाँ सब सेहो पढ़ि सकैत छीः https://maithilijindabaad.com/?p=21132) एहि कथा मे...
झिझिया के पूछे नहि दांडिया के भरमार – मिथिला मे परदेशिया नाच के बोखार
मिथिला मे परदेशिया नाच के बयार लेल जिम्मेदार केकरा कहल जाय?
क. सम्भ्रान्त समाजक गुम होयब आ समाजक विकृति प्रति कतहु कोनो प्रतिकार वा सामाजिक...
समाज मे बदलाव सँ पहिने स्वयं मे बदलाव आवश्यक
स्वयंसंकल्प आ स्वयंसेवा
यदि हम चाहि टा लेबय, परिवर्तन आबिये टा जेतय!
यदि दुविधे फँसल रहबय, समय ब्यर्थे टा बिति जेतय!!
स्वयंसंकल्प आ स्वयंसेवा सँ समाज बदलैत...